महात्मा गांधी के आंदोलन List | गांधी जयंती | महात्मा गांधी के वंशज अभी कौन है? 

महात्मा गांधी के आंदोलन List
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नमस्कार दोस्तों स्वागत है हमारे वेबसाइट पर आज की पोस्ट में हम बात करेंगे गांधी जयंती पर निबंध जैसा कि आप लोग जानते हैं कि महात्मा गांधी का जन्म 2 अक्टूबर को हुआ था और 2 अक्टूबर को पूरे विश्व में और 

विशेष तौर पर भारत में एक गांधी जयंती के तौर पर मनाया जाता है इस दिन देशभर में भिन्न प्रकार के कार्यक्रम आयोजित किए जाते हैं और देश के प्रधानमंत्री राजघाट पर जाकर गांधी जी को श्रद्धांजलि अर्पित करते हैं 

ऐसे में अगर आप गांधी जयंती पर निबंध लिखना चाहते हैं तो आपके लिए आर्टिकल काफी महत्वपूर्ण होगा क्योंकि इसमें हम आपको गांधी जयंती पर आप एक बेहतरीन आर्टिकल कैसे लिखेंगे उसके बारे में जानकारी देंगे इसलिए हम आपसे अनुरोध करते हैं कि आर्टिकल को आखिर तक पढ़े चलिए जानते हैं-

गांधी जयंती 200 शब्दों में  निबंध

मोहनदास करमचन्द गाँधी के जन्म दिवस को गांधी जयंती के तौर पर भारत में 2 अक्टूबर को मनाया जाता है महात्मा गांधी को राष्ट्रपिता कहा जाता है सबसे पहले महात्मा गांधी को राष्ट्रपिता रविंद्र नाथ टैगोर के द्वारा कहा गया था 

हालांकि भारतीय संविधान में किसी भी धारा में इस बात का उल्लेख नहीं है कि महात्मा गांधी भारत के राष्ट्रपिता हैं इसके बावजूद भी महात्मा गांधी भारत के राष्ट्रपिता है क्योंकि उन्होंने भारत की आजादी में अपना अहम योगदान दिया था और 

उन्होंने अहिंसा और सत्य के रास्ते पर चलकर देश को 200 वर्षो की गुलामी से आजादी दिलाई थी जिसके कारण महात्मा गांधी को राष्ट्रपिता की उपाधि देना सर्वथा न्याय संगत है I 15 जून 2007 को संयुक्त राष्ट्र महासभा द्वारा अंतरराष्ट्रीय अहिंसा दिवस के रूप में महात्मा गांधी के जन्मदिन को मनाने की घोषणा की गई 

इसलिए 2 अक्टूबर अंतरराष्ट्रीय अहिंसा दिवस के तौर पर भी पूरे विश्व में मनाया जाता है I इसलिए गांधी जयंती एक प्रकार का अंतरराष्ट्रीय अवकाश भी है इसलिए हर एक भारतीय के लिए गर्व की बात है कि महात्मा गांधी के जन्मदिवस को विश्व स्तर पर भी विभिन्न प्रकार के देशों के द्वारा मनाया जाता है I

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इस दिन भारत में सभी स्कूल और कॉलेज बंद रहते हैं इसके अलावा देश के विभिन्न क्षेत्रों में गांधी जयंती के दिन में तीन प्रकार के सांस्कृतिक कार्यक्रम आयोजित किए जाते हैं जिनमें लोगों के द्वारा गांधी जयंती पर भाषण दिया जाता है ताकि लोगों को मालूम चल सके कि गांधी जयंती का क्या महत्व है I 

सबसे बड़ी बात है कि गांधी जयंती पर गांधी जी के विचारों का प्रचार और प्रसार किया जाता है ताकि हम गांधीजी जीवन के और भी पहलुओं के बारे में जान सके I  “महात्मा गांधी के आंदोलन List”

गांधी जयंती के सरकारी और सामाजिक संस्थानों विभिन्न  छात्रों के बीच में भिन्न प्रकार की प्रतियोगिता आयोजित की जाती है जिस प्रतियोगिता में अगर कोई छात्र अच्छा प्रदर्शन करता है तो उसे पुरस्कृत किया जाता है I 

गांधी जयंती के दिन में गांधी जी का सबसे प्रिय भजन रघुपति राजा राम लोगों के द्वारा गाया जाता है इस गीत को सुनने के बाद हमें लगता है कि भारत  रामराज के युग में चला गया है गांधीजी का सपना था कि भारत में रामराजा है इसलिए हम सबको मिलकर गांधीजी के सपने को पूरा करना होगा I

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गांधी जयंती पर निबंध 300 शब्दों में

गांधी जयंती की भारत का तीसरा राष्ट्रीय अवकाश महा पर्व है इस दिन हम महात्मा गांधी को श्रद्धांजलि अर्पित करते हैं महात्मा गांधी एक सच्चे देशभक्त और महान राजनेता थे  I

उन्होंने अपने अहिंसा और सत्य के दो प्रमुख हथियारों से ब्रिटिश सरकार को भारत से उखाड़ फेंका और भारत को आजादी दिलाई आजादी मिलने के बाद भी महात्मा गांधी ने भारत में अहिंसा आंदोलन जारी रखा और लोगों को बताया कि हिंसा के द्वारा कभी भी आप एक-दूसरे के नजदीक नहीं आ पाएंगे  I 

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इसलिए हमें हिंसा की जगह अहिंसा का पालन अपने जीवन में करना चाहिए तभी जाकर समाज में प्यार और भाईचारा स्थापित हो पाएगा गांधीजी सामाजिक समानता के पक्षधर थे वह मानते थे कि समाज में सभी व्यक्ति एक समान है ना कोई गरीब है ना कोई छोटा है इसलिए वह आसमानता और भेदभाव के खिलाफ थे I

गांधीजी छुआछूत के भी प्रबल विरोधी थे उनका कहना था कि छुआछूत जैसी कुप्रथा को भारत से समाप्त करना होगा तभी जाकर लोगों के बीच में प्यार और भाईचारा और भी मजबूती के साथ स्थापित हो पाएगा जिसके फलस्वरूप एक मनुष्य दूसरे मनुष्य भावनात्मक रूप से जुड़ पाएगा I

गांधी जयंती के दिन में देश के प्रधानमंत्री और राष्ट्रपति राजघाट पर जाकर गांधी जी को संजलि अर्पित करते हैं इसके अलावा राजघाट को फूलों की माला और फूलों से सजाया जाता है इसके अलावा समाधि पर सुबह के समय धार्मिक भजन भी आयोजित किए जाते हैं जिसमें देश के प्रमुख नेता और अधिकारी सम्मिलित होते हैं गांधी जयंती भारत में एक राष्ट्रीय पर्व के तौर पर मनाया जाता है   I

राजघाट के समाधि स्थल को फूलों की माला तथा फूलों से सजाया जाता है तथा इस महान नेता को श्रद्धांजलि अर्पित की जाती है। समाधि पर सुबह के समय धार्मिक प्रार्थना भी रखी जाती है।

इस दिन गांधीजी के जीवन और उनके कार्यों पर आधारित नाटक ड्रामा कविता व्याख्यान गायन भाषण निबंध लेखन और दूसरी प्रकार की प्रतियोगिता आयोजित की जाती है I  जिसमें छात्र-छात्राएं बढ़-चढ़कर भाग लेती हैं और जो भी छात्राएं छात्र इस प्रतियोगिता में अच्छा प्रदर्शन करता है उन्हें इनाम की राशि भी दी जाती है

महात्मा गांधी केवल भारत के नहीं बल्कि विश्व के लिए भी एक प्रेरणा के स्रोत हैं मार्टिन लूथर नेशनल मंडेला जेम्स जॉनसन जैसे नेता गांधी जी को अपना आदर्श मानते थे और उनके अहिंसा और सच के रास्ते पर चलने का उन्होंने भरसक प्रयास किया सबसे बड़ा उदाहरण है कि 

नेशनल मंडेला को दक्षिण अफ्रीका का गांधी का जाता है और उन्होंने गांधी जी के दिखाए गए पद चिन्हों पर चलकर दक्षिण अफ्रीका में रंगभेद नीति को समाप्त किया और लोगों को अधिकार दिलाया इसलिए गांधी केवल हम भारतीयों के लिए नहीं बल्कि विश्व के कई बड़े नेताओं के लिए प्रेरणा के स्रोत हैं

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गांधी जयंती पर निबंध 400 शब्दों में

गांधी जयंती भारत का एक राष्ट्रीय पर्व है जो प्रत्येक 2 अक्टूबर को देश में मनाया जाता है I  इसके अलावा गांधी जयंती को संयुक्त राष्ट्र महासभा के द्वारा 2 अक्टूबर को अंतरराष्ट्रीय अहिंसा दिवस के रूप में भी मनाया जाता है भारत की स्वतंत्रता में गांधीजी का योगदान अतुल्य है I

उन्होंने जिस प्रकार भारत को अहिंसा और सत्य के दो प्रमुख हथियारों के माध्यम से अंग्रेजों की गुलामी से आजादी भारत को दिलाई वह हम सबके लिए एक गौरव का दिन था

 पूरे विश्व में बापू के दर्शन और अहिंसा में विश्वास और सिद्धांत आदि को फैलाने के लिए अंतरराष्ट्रीय अहिंसा दिवस का पालन 2 अक्टूबर को किया जाता है ताकि विश्व में लोगों को गांधीजी के विचार धाराओं के बारे में और भी ज्यादा जागरूक किया जा सके 

गांधी जी का जन्म गुजरात के पोरबंदर में 2 अक्टूबर 1869 में हुआ था गांधी जी का पूरा जीवन देश के लिए समर्पित था I गांधी जी ने देश को स्वराज, किसानों के लिए आर्थिक सुधार और समाज में जिस प्रकार छुआछूत की भावना थी उसे समाप्त करने के लिए निरंतर प्रयास किया I

इसके कारण समाज में आज भेदभाव की भावना पहले के मुकाबले बहुत कम है गांधी जी ने दांडी यात्रा असहयोग आंदोलन भारत छोड़ो आंदोलन के अलावा कई महत्वपूर्ण आंदोलन का नेतृत्व किया और उन्होंने इस आंदोलन के माध्यम से भारत में ब्रिटिश सरकार के जड़ों को हिला दिया गांधी जी के 1942 भाई छोड़ो आंदोलन के द्वारा ही अंग्रेजों को भारत छोड़ना पड़ा उनके इस आंदोलन में देश का प्रत्येक नागरिक सम्मिलित हुआ  I

गांधी जयंती उत्सव हर्षोल्लास और धूमधाम के साथ मनाया जाता है इस दिन गांधी जी के समाधि रामघाट पर उन्हें पुष्प अर्पित किए जाते हैं और उसके बाद वहां पर गांधी जी के प्रमुख गाने रघुपति राजा राम गीत गाकर गांधी जयंती मनाया जाता है गांधी जयंती के दिन में सभी स्कूल कॉलेज और सरकारी दफ्तर बन जाते हैं I

इस दिन कई सामाजिक संस्थान अपने यहां भिन्न प्रकार की निबंध भाषण वाद विवाद कविता नाटक मंचन जैसे प्रतियोगिता आयोजित करते हैं I 

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जिनमें छात्रों के द्वारा भाग लिया जाता है ताकि गांधीजी के विचार धाराओं को और भी ज्यादा प्रसारित किया जा सके  गांधी जयंती के माध्यम से आप गांधीजी के जीवन के और भी दूसरे पहलू जिनके बारे में आपको जानकारी नहीं है आप जान पाएंगे,  इसलिए हम सबको गांधी जयंती में जरूर सम्मिलित होना चाहिए I

 ताकि देश में गांधीजी का क्या योगदान है उससे संबंधित हमें और भी जानकारी प्राप्त हो सके गांधी जी का जीवन हमारे लिए एक प्रकार का मार्गदर्शन है I  इसलिए हमें गांधीजी के विचार धाराओं को अपने अंदर आत्मसात करना चाहिए ताकि देश के विकास में हम भागीदार बन सके I

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गांधी जयंती पर 500 शब्दों में निबंध

महात्मा गांधी का प्रारंभिक जीवन और जन्म

महात्मा गांधी का जन्म 2 अक्टूबर 1869 को गुजरात के पोरबंदर में हुआ था इनके पिता का नाम करमचंद गांधी और माता का नाम पुतलीबाई था I इनके पिता ब्रिटिश सरकार में दीवानी के पद पर काम करते थे और उनकी माता एक कुशल गृहिणी थे I

महात्मा गांधी की शिक्षा

महात्मा गांधी ने अपनी प्रारंभिक शिक्षा गुजरात के स्कूलों से प्राप्त की और आगे की पढ़ाई के लिए इंग्लैंड चले गए जब उन्होंने अपनी वकालत की पढ़ाई पूरी कर ली तो वह दक्षिण अफ्रीका चले गए जहां पर उन्होंने एक वकील के तौर पर काम करना शुरू किया  I

दक्षिण अफ्रीका में गांधी जी 1914 तक सामाजिक कार्यकर्ता और वकील के तौर पर काम उन्होंने किया ऐसा कहा जाता है कि दक्षिण अफ्रीका और से ही गांधी जी झुकाव सामाजिक सुधार के क्षेत्र में हुआ I 

उन्होंने दक्षिण अफ्रीका में वहां के लोगों के लिए कई प्रकार के आंदोलन किए इसके लिए उन्हें जेल भी जाना पड़ा गांधीजी के बारे में एक कहानी बहुत ज्यादा प्रचलित है कि एक बार गांधीजी ट्रेन के फर्स्ट क्लास डिब्बे में जाकर बैठ गए और तभी वहां पर एक अंग्रेजी अधिकारी आता है और कहता है कि फर्स्ट क्लास का डिब्बा अंग्रेजों के लिए है I आप जैसे लोगों के लिए और उस व्यक्ति ने गांधी को ट्रेन से उठाकर बाहर फेंक दिया I

इसके बाद गांधी ने कहा कि जिस प्रकार आपने मुझे ट्रेन से उठा कर बाहर का है ठीक उसी प्रकार मैं आपको भारत से उखाड़ सकूंगा और गांधी जी क्या हुआ कथन बिल्कुल सही हुआ और गांधीजी ने अंग्रेजों को भारत से उखाड़ फेंका I

गांधी जी के पत्नी और बच्चे

महात्मा गांधी की शादी 13 वर्ष की उम्र में कस्तूरबा गांधी से हुई थी  I गांधीजी के चार बच्चे थे I हरिलाल मोहनदास ,गांधी रामदास गांधी, मणिलाल गांधी, देवदास गांधी I

गांधी जी के राजनीतिक करियर की शुरुआत

1899 में गांधीजी दक्षिण अफ्रीका के दौरे में थे वहां पर उनको  एंगलो बोअर युद्ध में स्वास्थ्य कर्मी के तौर पर काम करने का मौका मिला उन्होंने वहां पर युद्ध के बाद लोगों की स्थिति देखी जिससे उनका मन काफी दुख हुआ और उन्होंने मन में इस बात का प्रण लिया है कि वह कभी भी अहिंसा के रास्ते पर नहीं चलेंगे यहीं से गांधी जी का हिंसा का मार्ग शुरू होता है और उन्होंने अहिंसा को जीवन का सबसे बड़ा शत्रु माना

गांधी जी के राजनीतिक करियर की शुरुआत होने के पीछे एक कहानी है एक बार गांधीजी ट्रेन के एक डिब्बे में बैठ गए जो फर्स्ट क्लास का डिब्बा था जो विशेष तौर पर अंग्रेजों के लिए आरक्षित था I 

इसके बाद एक अंग्रेज अधिकारी ने उन्हें कहा कि आप ही से डिब्बे पर नहीं बैठ सकते हैं आप थक जाते डिब्बे में सफर करेंगे इसके बाद गांधी जी को ट्रेन के डिब्बे से बाहर कर दिया गया यहीं से गांधी जी के जीवन की राजनीतिक शुरुआत होती है क्योंकि 

इस घटना का उनके ऊपर विशेष प्रभाव पड़ा और उन्होंने कहा कि राजनीतिक में आकर ही अपने लोगों के हित और उनके अधिकारों की लड़ाई लड़ी जा सकती है 1915 में राम कृष्ण गोखले ने गांधी जी से आग्रह किया कि वह भारत लौटे इसके बाद 1920 में गांधी जी ने कांग्रेस पार्टी का नेतृत्व किया और इस पार्टी के संगठन को मजबूत किया I

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महात्मा गांधी का भारत आगमन

दक्षिण अफ्रीका में 21 साल रहने के बाद और वहां पर लोगों के हित के लिए गांधी जी के द्वारा अनेक प्रकार के कार्य किए गए थे जिसके कारण वे जेल भी जानी पड़ी थी इसके बाद 1915 में गांधी जी भारत आते हैं और यहां पर भारतीय कांग्रेस पार्टी ज्वाइन करते हैं 

जिसके बाद से ही गांधीजी के भारतीय राजनीति की शुरुआत होती है इसके बाद भारत में गांधी जी के द्वारा कई प्रकार के आंदोलन किए गए और उन्होंने कम भारतीय कांग्रेस पार्टी को मजबूत किया I

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गांधी जयंती पर निबंध 800 शब्दों में

गांधी जी के द्वारा किए गए महत्वपूर्ण आंदोलन

चंपारण आंदोलन

चंपारण आंदोलन गांधी जी के जीवन का पहला आंदोलन था ऐसा कहा जाता है कि चंपारण में रहने वाले किसानों को अंग्रेजी सरकार ने खेती के पैदावार को कम कर उनकी जगह नील की खेती करने के लिए मजबूर किया है जिसका किसानों ने घोर विरोध किया लेकिन अमेरिका ने उन पर काफी अत्याचार किए और 

किसानों को मजबूर किया कि गांधी जी ने अंग्रेजों के इस बाग के खिलाफ आंदोलन का बिगुल फूंक दिया और  सरकार को मजबूर किया कि गांधी जी की बात मानी जाए और आखिर में 1917 में चंपारण के गांव में अंग्रेजी अधिकारी गांधी जी को अंग्रेजी अधिकारी गांधी जी को मनाने की भरसक कोशिश करते हैं 

लेकिन गांधीजी किसानों के हित के लिए किसी भी बात को मानने से इनकार करते हैं और आखिर में अंग्रेजों को गांधीजी की मांग माननी पड़ी इस आंदोलन को चंपारण आंदोलन के नाम से जाना जाता है क्योंकि इस का उद्भव चंपारण जिले में हुआ था I

खेड़ा आन्दोलन

महात्मा गांधी के द्वारा खेड़ा गांव में खेड़ा आंदोलन शुरू किया गया था इस आंदोलन को शुरू करने के पीछे की वजह है कि सरकार किसानों से कर वसूली कर रही थी जबकि बाढ़ की समस्या के कारण पूरी फसल बर्बाद हो गई थी लेकिन सरकार ने कर वसूली में किसी प्रकार की कमी करने से इंकार कर दिया और जबरन किसानों से कर वसूल करने की प्रक्रिया शुरू कर दी I 

इसके बाद किसानों ने गांधी से मिलकर अपनी समस्या बताएं इसके बाद गांधी जी ने खेड़ा आंदोलन शुरू कर दिया जिसके बाद अंग्रेजी सरकार को गांधी जी के सामने हार माननी पड़ी और अपना कर वसूली को वापस लेना पड़ा I

असहयोग आंदोलन

अंग्रेजी सरकार के द्वारा भारतीय लोगों पर दिन प्रतिदिन अत्याचार बढ़ता ही जा रहा था इसके अलावा जलियांवाला बाग हत्याकांड ने गांधी जी के जीवन पर विशेष प्रभाव डाला I जिस प्रकार जलियांवाला बाग में असहाय लोगों पर अंग्रेजो के द्वारा गोली चलाई गई जिसमें कई हजार लोगों की जान चली गई  I

जिसके कारण देश में भारी आक्रोश था देश के बढ़ते हुए आक्रोश को देखते हुए गांधीजी ने असहयोग आंदोलन देश में शुरू करने के बारे में एक अभियान चलाया था I

उन्होंने कहा कि हम सभी विदेशी चीजों का बहिष्कार करेंगे हम उनके चीज का कोई भी इस्तेमाल नहीं करेंगे गांधी जी के इस आंदोलन में देश के कई लोग सम्मिलित हुए और गांधीजी के आंदोलन सबसे सफल आंदोलन माना जाता है I

इस आंदोलन के कारण चोरी चोरी हत्याकांड की घटना घटित हुई जिसमें कई जगह पर लूटपाट और अहिंसा जैसी घटना घटित हुई जिसके बाद गांधी जी बहुत ज्यादा दुखी हुए और उन्होंने अपनाया वंदन वापस ले लिया इसके अलावा गांधी जी को इस आंदोलन के कारण 6 महीने जेल की सजा भी काटनी पड़ी थी I

नमक आंदोलन

अंग्रेजी सरकार ने भारत में कई चीजों पर इतना अधिक कार्य लगा दिया कि वह चीजें महंगी हो गई कि आमजन के लिए खरीदना मुश्किल हो गया था ऐसे में अंग्रेजी सरकार ने भी नमक पर कर लगाने की घोषणा की है जिसका देश भर में भारी विरोध हुआ और गांधीजी ने अंग्रेजो के खिलाफ नमक आंदोलन की शुरुआत की I गांधी जी ने अपने नमक आंदोलन की शुरुआत अहमदाबाद के साबरमती आश्रम से शुरू किया गांधी जी के इस आंदोलन में देश के कई लाख लोग सम्मिलित हुए I

 इस आंदोलन के माध्यम से गांधीजी ने कहा कि हमें खुद नमक का उत्पादन करना चाहिए गांधी जी का आंदोलन पूरे दुनिया में प्रसिद्ध हुआ क्योंकि इस आंदोलन में गांधीजी ने किसी प्रकार की हिंसा नहीं की क्योंकि पूरा आंदोलन अहिंसा के माध्यम से चला गया और देश में आंदोलन काफी सफल रहा I इस आंदोलन को नमक सत्याग्रह और दांडी मार्च यात्रा के नाम से जाना जाता है I

भारत छोड़ो आन्दोलन

गांधी जी के द्वारा 1942 में भारत छोड़ो आंदोलन का संचालन किया गया था इस आंदोलन को भारत का सबसे महत्वपूर्ण और प्रभावशाली आंदोलन में आ जाता है क्योंकि इसके बाद ही अंग्रेजी सरकार की पूरी तरह से  हिल गई और अंग्रेजों को भारत छोड़ना पड़ा I

इस आंदोलन में देश के सभी नागरिक सम्मिलित हुए और आंदोलन में लाखों की भीड़ एक जगह इकट्ठा होकर एक साथ दिल्ली की तरफ कूच करें 1942 में द्वितीय विश्व युद्ध का समय चल रहा था और ब्रिटेन विश्व युद्ध में सम्मिलित था 

इसके लिए उसे अधिक भारतीय सैनिकों की जरूरत थी और लोगों की उसे भारत के लोगों को कहा कि अगर द्वितीय विश्व युद्ध में उनका साथ देंगे तो भारत को आजाद कर दिया जाएगा I 1942 का भारत छोड़ो आंदोलन सफल होने के पीछे है कि लोगों की एकजुटता और उनका आत्मविश्वास I

महात्मा गांधी की मृत्यु

30 जनवरी 1948 को नाथूराम गोडसे ने गांधी जी को गोली मारकर हत्या कर दी आज भले ही गांधी जी हमारे बीच नहीं है लेकिन उनकी विचारधारा हमेशा जीवंत रहेगी गांधी जी ने जिस प्रकार देश के आजादी में गांधीजी का योगदान है 

वह अतुल्य है 30 जनवरी को भारत में शहीद दिवस के रूप में भी मनाया जाता है हमें गांधी जी को शत शत नमन करना चाहिए I इसलिए हम सबको गांधी जी के द्वारा दिखाए गए पद चिन्हों पर चलने का प्रयास करना चाहिए तभी जाकर हमारा देश भारत विकास के पद पर और भी तेजी के साथ अग्रसर हो पाएगा I

आज का सीख।

मैं उम्मीद करता हूं कि आप यह जान चुके होंगे कि आप गांधी जयंती पर निबंध के बारे में साथ हि गांधी जयंती पर 500 शब्दों में निबंध,महात्मा गांधी का प्रारंभिक जीवन और जन्म,महात्मा गांधी की शिक्षा,गांधी जी के पत्नी और बच्चे,गांधी जी के राजनीतिक करियर की शुरुआत,चंपारण आंदोलन,खेड़ा आन्दोलन,भारत छोड़ो आन्दोलन इत्यादि के बारे में भी जान चुके होंगे यदि आप महात्मा गांधी के बारे में और भी कुछ पूछना चाहते हो तो आप हमारे कमेंट बॉक्स में कमेंट (Comment) कर सकते हैं। 

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संबंधित सवाल।

प्रश्न: गांधी जी की उम्र कितनी थी?

उत्तर: गांधीजी की उम्र उनके मृत्यु होने तक 78 वर्ष हो चुकी थी। 

प्रश्न: गांधी ने कितनी बार शादी की थी? 

उत्तर: अपने दो पत्नियों की मृत्यु हो जाने के वजह से और एक पत्नी के निसंतान होने के वजह से गांधीजी को चौथा शादी करना पड़ा था इसलिए गांधी जी ने 4 बार शादी की थी। 

प्रश्न: गांधी जी की पत्नी का नाम क्या है? 

उत्तर: गांधी जी की पत्नी का नाम कस्तूरबा गांधी था। 

प्रश्न: महात्मा गांधी के कितने बेटे थे? 

उत्तर: महात्मा गांधी के चार बेटे थे 

प्रश्न: महात्मा गांधी के बेटे का नाम क्या है?

उत्तर: महात्मा गांधी के चार बेटे थे देवदास गांधी, रामदास गांधी, मणिलाल गांधी,हरीलाल गांधी। 

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